
कार्यक्रम में लगभग सभी श्रद्धालु अपने-अपने जीवनसाथी के साथ सम्मिलित हुए और संयुक्त रूप से भगवान शंकर की पूजा.अर्चना की। दंपत्तियों ने एक साथ बैठकर रुद्राभिषेक किया और सुख.शांति, समृद्धि एवं संतान सुख की कामना करते हुए शिव परिवार से आशीर्वाद प्राप्त किया। आयोजन का मुख्य उद्देश्य विश्व शांति, पारिवारिक एकता और आध्यात्मिक उन्नति को बढ़ावा देना था।
पूरे आयोजन का संचालन मुख्य आचार्य महावीर प्रसाद वशिष्ठ के मार्गदर्शन में हुआ। उन्होंने वैदिक मंत्रोच्चारण के साथ रुद्रपाठ करवाया और श्रद्धालुओं को भगवान शिव की महिमा के बारे में विस्तार से बताया। अपने प्रवचन में उन्होंने कहा कि भगवान शिव केवल विनाश के देवता नहीं, बल्कि सृजन, संतुलन और आत्मशांति के प्रतीक हैं। आज के दौर में जब व्यक्ति मानसिक तनाव, पारिवारिक कलह और सामाजिक विघटन से जूझ रहा है, तब शिव तत्व को समझना और उसका अनुसरण करना बेहद आवश्यक है।
इस विशेष अवसर पर उद्योगपति एवं समाजसेवी अरुण बजाज, वीएस चौधरी, पारसमल, पवन वशिष्ठ, राजेंद्र मुंद्रा, मुकेश वर्मा, ललित गर्ग, अशोक राव, कन्हैया लाल शर्मा, पवन शर्मा, प्रोफेसर वर्षा शर्मा, मदन गोपाल बंसल, दीपक राठौड़ सहित अनेक गणमान्य नागरिक उपस्थित रहे। सभी ने रुद्राभिषेक में भाग लेकर आध्यात्मिक ऊर्जा का अनुभव किया और धर्म व संस्कृति की जड़ों को मजबूत करने का संकल्प लिया।
कार्यक्रम के अंत में सामूहिक आरती की गई तथा सभी श्रद्धालुओं को प्रसाद वितरण किया गया। मंडल की ओर से आयोजन को सफल बनाने में सहयोग देने वाले सभी सदस्यों का आभार प्रकट किया गया। कार्यक्रम में श्रद्धा, समर्पण और भारतीय आध्यात्मिक परंपरा की अनुपम झलक देखने को मिली
है।